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भूमि की फर्जी तरीके से कागज बनवाकर विपक्षियों ने पुलिस को किया गुमराह

भूमि की फर्जी तरीके से कागज बनवाकर विपक्षियों ने पुलिस को किया गुमराह

                   ( काल्पनिक तस्वीर )
मिर्ज़ापुर , जमीन के मामले में कई विवाद आपने सुना होगा लेकिन मिर्जापुर में घटित इस घटना ने सभी को हैरान कर दिया । चंपा देवी की माने तो चंपा देवी पिछले कई वर्षों से जिले केे देहात कोतवाली थाना क्षेत्र में पड़ने वाले लक्षापट्टी में आराजी नंबर 461 रकबा दशमलव 2100 हेक्टेयर स्थित मौजा लच्छापट्टी में बतौर मालिक काबिज और दाखिल है । उसी में उनका आवासीय मकान भी बना है और शेष पूर्वी भाग में अपने कारोबार के लिए निर्माण कार्य करा रही थी .
कि इतने में गांव के ही कुछ लोगों ने 15 अगस्त को कोतवाली देहात से दो पुलिसकर्मी को लेकर आए और चंपा देवी के द्वारा बनवाए जा रहे कार्य को रुकवा दिया ।जब चंपा देवी व उनके परिजनों ने पूछा कि भाई कार्य क्यों रोका जा रहा है .

तो इतने में विपक्षियों और पुलिसकर्मियों ने यह कहा कि न्यायालय के आदेशानुसार जिस स्थान पर आप निर्माण कार्य करा रहे हैं वहां अदालत ने रोक लगाई हैं । ऐसे में यह सुनकर चंपा देवी व उनके परिजनों के पैरों तले जमीन खिसक गए ।

जब इस बात की जानकारी चंपा देवी ने सक्षम न्यायालय व अधिकारियों को दिया तो छानबीन करने के उपरांत फर्जी तरीके से कागजों के साथ कूट रचित करते हुए विपक्षियों ने पुलिस को भी गुमराह किया ,और उसी कूट रचित कागज के दम पर पुलिस भी काम रुकवाने पहुंच गई। 

चंपा देवी व उनके परिजनों की माने तो फर्जी खतौनी तथा खसरा दाखिल करके उक्त भूमि पर निषेधाज्ञा का आदेश प्राप्त कर लिया गया। मीडिया के समक्ष भुक्तभोगी ने असली और नकली दोनों दस्तावेज प्रस्तुत किए ।

पहली नजर में सीधे-सीधे दस्तावेजों के साथ छेड़छाड़ करके कूट रचित करते हुए परेशान करने की नियत से पुलिस का दुरुपयोग करते हुए विपक्षियों ने चंपा देवी व उनके परिजनों का भयानक शोषण किया। 

चंपा देवी व उनके परिजनों की माने तो दिनांक 10 अगस्त 2020 को न्यायालय ने आदेश पारित किया है कि नियत दिनांक तक आराजी नंबर 461 रकबा 0.2 100 हे. पर चंपा देवी व उनके परिजनों के शांतिपूर्ण कब्जे में हस्तक्षेप करने से निषेधित रहे है । 

दिनांक 17 अगस्त 2020 को न्यायालय की पत्रावली से ज्ञात हुआ कि विपक्षियों ने खाता संख्या 00432 आराजी नंबर 461 रकबा 0.2100 की खतौनी लगान 17.70 तथा खसरा दाखिल करके निषेधाज्ञा आदेश प्राप्त किया है ।उक्त खतौनी को देखकर पीड़ीत ही नहीं जिसने सुना सभी ने दांतो तले उंगली दबा लिया ।

चंपा देवी व उनके परिजनों का आरोप है कि विपक्षियों ने जालसाजी करके खतौनी बनाया है ।जब चंपा देवी व उनके परिजनों ने दिनांक 6, 5 अगस्त को तथा दिनांक 14 अगस्त को खतौनी खसरा निकला था उसमें व विपक्षियों द्वारा दाखिल खतौनी खसरा आपस में मिलान किया तो कई अंतर सामने प्रकाश में आए। पुलिस 
 जांच में जुटी है ।