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यूपी: वाराणसी के मंडुआडीह स्टेशन पर एक बार फिर लहराया 100 फीट ऊंचा गगनचुंबी तिरंगा।

यूपी: वाराणसी के मंडुआडीह स्टेशन पर एक बार फिर लहराया 100 फीट ऊंचा गगनचुंबी तिरंगा।


वाराणसी। देश का गौरव और सम्मान का प्रतीक राष्ट्रीय ध्वज एक बार फिर से मंडुआडीह स्टेशन के शान ओ शौकत में चार चांद लगा रहा है। कुछ दिनों पहले तेज हवा और पानी के चलते तिरंगे का कपड़ा फट गया था। लिहाजा प्रोटोकाल का पालन करते हुए तत्काल धवज को नीचे उतारा गया। नए तिरंगे का प्रबंध करने के उपरांत राष्ट्रीय सम्मान के साथ उसे पुनः उद्यान परिसर में लगा दिया गया। 

लोगों में देशभक्ति का जज्बा पैदा करने और उन्हें राष्ट्रीयता का अहसास कराने के लिए ए और ए-1 श्रेणी के रेलवे स्टेशन पर विशाल राष्ट्रीय ध्वज लगाया गया था। इसके तहत पूर्वोत्तर रेलवे के मंडुआडीह स्टेशन पर भी 100 फीट ऊंचा ध्वज फहराया गया था। जो रोजाना हजारों की संख्या में आवागमन करने वाले यात्रियों के आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। यहां आने वाले लोग झंडे के साथ सेल्फी लेने से भी नहीं चूकते।

मंडुआडीह स्टेशन का नाम बनारस होने की लोगों में आस लगी है, लेकिन रेल अफसरों को यह परिवर्तन रास नहीं आ रही है। एक वर्ष पूरा होने के कगार पर है, फिर भी इस प्रमुख स्टेशन का नाम नहीं बदला। पिछले साल अगस्त 2020 में गृह मंत्रालय के निर्देश पर राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने 17 सितंबर 2020 को पूर्वोत्तर रेलवे के मंडुआडीह स्टेशन का नाम बदल कर बनारस किए जाने की अनुमति दी थी।

बता दें कि कागजों और स्टेशन पर अब भी मंडुआडीह स्टेशन नाम ही अंकित है। इसके लिए स्टेशन कोड बीएसबीएस भी जारी किया गया था। ठीक एक दिन बाद रेल अधिकारियों ने बनारस लिखा हुआ बोर्ड लगवाया और शिवगंगा सहित अन्य ट्रेनों की पट्टी पर मंडुआडीह हटाकर बनारस कर दिया गया था। इसके बाद मुख्यालय से आए दिशा-निर्देशों के बाद आननफानन वाराणसी मंडल के अधिकारियों ने बनारस लिखा हुआ बोर्ड और पट्टी हटवाकर मंडुआडीह कर दिया था। तब से अब तक स्टेशन का नाम मंडुआडीह ही चल रहा है। 

बनारस स्टेशन और कोड बदले जाने में हो रही देरी पर पूछे जाने पर स्थानीय अधिकारी रेलवे बोर्ड का मामला बताकर चुप्पी साध ले रहे हैं। इधर यह स्टेशन एक सप्ताह से ध्वजविहीन हो गया है। शिखर पर एक सप्ताह से तिरंगा नहीं फहराया जा रहा है। जिम्मेदार अफसर ने बताया कि आंधी और बारिश के चलते ध्वज थोड़ा फट गया था। जल्द ही नया ध्वज फहराया जाएगा।