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यूपी: वाराणसी में पांच महीने ब्याज माफी योजना के लिए आए दो हजार आवेदन, दो सितंबर तक है अंतिम तिथि।
वाराणसी। वाणिज्य कर विभाग की ओर से कोरोना महामारी की दूसरी लहर के पहले शुरू की गई ब्याज माफी योजना का असर ज्यादा नहीं दिख रहा है। योजना के तहत बकायेदारों के लिए अलग-अलग तरीके से ब्याज माफ करने की सुविधा है। विभाग को उम्मीद थी कि योजना का लाभ कम से कम पचास हजार व्यापारी उठाएंगे। मार्च से शुरू हुई योजना में अब तक करीब दो हजार आवेदन ही आए हैं।
बता दें कि ब्याज माफी योजना 2021 शुरू होने पर विभाग के अफसरों ने कहा था कि शासन के निर्देश के मुताबिक ब्याज माफी योजना में व्यापारियों के मूल बकाया राशि पर लगाए गए ब्याज में छूट देने का प्राविधान है। पांच महीना बीत गया फिर भी व्यापारी इसमें रुचि नहीं ले रहे हैं। योजना की अंतिम तिथि तीन बार बढ़ाई गई। अब दो सितंबर तक व्यापारी इस योजना का लाभ ले सकते हैं।
व्यापारियों के आवेदन न करने से विभागीय अधिकारी भी परेशान हैं। उनको उम्मीद थी कि योजना सफल हुई तो करोड़ों रुपये का राजस्व प्राप्त हो जाएगा। माना जा रहा है कि कोरोना महामारी के दूसरे लहर में हुए व्यापारियों को नुकसान के कारण व्यापारी योजना का लाभ लेने के लिए आगे नहीं आ रहे हैं।
बता दें कि कर सलाहकारों और चार्टर अकाउंटेंट की माने तो योजना के तहत दस लाख के बकाए पर ब्याज और जुर्माना पूरा माफ करने का प्राविधान है। वहीं दस लाख से ऊपर और एक करोड़ तक के बकाए पर 90 फीसद ब्याज और जुर्माना पूरा माफ करने का प्राविधान है। शासन द्वारा जारी आदेश में समायोजन का कोई उल्लेख नहीं है।
जिन व्यापारियों ने मूलधन पहले जमा कर दिया है, उनके समायोजन का पेंच फंस गया है। कर सलाहकार अमित राय बताते हैं कि जब तक जमा टैक्स का समायोजन नहीं होगा तब तक व्यापारी योजना का लाभ नहीं ले सकेंगे। शासन को समायोजन से सम्बंधित स्पष्ट निर्देश जारी करना चाहिए।
मिथिलेश कुमार शुक्ला, अपर आयुक्त, ग्रेड-2 वाणिज्यकर विभाग ने बताया कि योजना का लाभ व्यापारी दो सितंबर तक ले सकते हैं। व्यापारियों को यदि योजना के विषय में कुछ जानना समझना हो या कहीं कोई परेशानी आ रही हो तो वह विभाग में आकर जानकारी प्राप्त करें। उनकी समस्याओं को दूर किया जाएगा।