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शरद पूर्णिमा पर आज ब्रज में होगा राधा और कान्‍हा का रास

शरद पूर्णिमा पर आज ब्रज में होगा राधा और कान्‍हा का रास


आगरा । हिंदू मान्यता में शरद पूर्णिमा का विशेष महत्व होता है। इस तिथि से शरद ऋतु का आरंभ होता है। इसकी विशेषता है कि शरद पूर्णिमा को चंद्रमा संपूर्ण और 16 कलाओं से युक्त होता है। इसे कोजागर पूर्णिमा और रास पूर्णिमा भी कहा जाता है। इस बार शरद पूर्णिमा को लेकर संशय की स्थिति है।

ज्योतिषाचार्य पं. चंद्रेश कौशिक ने बताया कि मंगलवार शाम छह बजकर 44 मिनट से अश्विन मास की पूर्णिमा शुरू हो रही है, जो बुधवार शाम सात बजकर 37 मिनट तक रहेगी। उदया तिथि में इसे मानने वाले बुधवार को मनाएंगे। हालांकि कुछ लोगों ने इसे मंगलवार को भी मानकर पूजा की और व्रत रखा। इस दिन भगवान शिव और सत्यनारायण का पाठ और पूजा फलदायी होती है।


शरद पूर्णिमा पर भगवान श्रीकृष्ण भी धवल चांदनी के रंग में रंगे नजर आएंगे। शरद पूर्णिमा पर नटखट नंदगोपाल के लिए कोलकाता की विशेष पोशाक और श्रृंगार इस बार बाजार में खासी पसंद की जा रही हैं। मनकामेश्वर स्थित पोशाक विक्रेता मयंक मिश्रा ने बताया कि शरद पूर्णिमा पर भगवान के लिए इस बार चार तरह की डिजाइनर पोशाक व श्रृंगार उपलब्ध हैं। इसमें सफेद के साथ सिल्वर रंग और दूसरा सफेद के साथ गोल्डन रंग का टच है। इनमें गोल्डन रंग वाले टच की पोशाक और श्रृंगार को खासा पसंद किया जा रहा है। इनकी कीमत साइज के हिसाब से 40 रुपये से लेकर 750 रुपये तक है। वहीं सभी पोशाकों के साथ मैचिंग श्रृंगार और मुरली भी प्रभु की शोभा और बढ़ा रहा है।


श्रीकृष्ण जन्मस्थान पर आज केशवदेवजी चंद्रलोक के स्वरूप में दर्शन देंगे। द्वारकाधीश मंदिर में भी ठाकुरजी के विशेष दर्शन होंगे। प्राचीन केशवदेव मंदिर में ठाकुरजी का अभिषेक किया जाएगा। श्रीकृष्ण जन्मस्थान स्थित भगवान श्रीकेशवदेव मंदिर को चंद्रलोक के स्वरूप में सजाया जाएगा। केशवदेव भगवान चंद्रलोक के स्वरूप में दर्शन देंगे। मंदिर को रंग-बिरंगी विद्युत सज्जा से जगमग किया जाएगा। शरद पूर्णिमा महोत्सव का शुभारंभ सुबह 8. 30 बजे श्रीगिरिराज के अभिषेक से किया जाएगा। 11. 30 बजे से प्रसादी भंडारे का आयोजन किया जाएगा। शाम सात से रात दस बजे तक भजन गायन किया जाएगा। महारास का मंचन रात 11 बजे तक होगा। रात 11 बजे श्रीगिरिराजजी की महाआरती होगी। श्रद्धालुओं का प्रवेश रात 11 बजे तक हो सकेगा। जन्मस्थान के विशेष कार्याधिकारी विजय बहादुर ने बताया कि केशवदेव मंदिर को चंद्रलोक के स्वरूप में सजाया जाएगा। छप्पनभोग का आयोजन किया जाएगा।द्वारकाधीश मंदिर में शाम 6.30 से 7.30 तक विशेष दर्शन होंगे। ठाकुरजी के दर्शन करने को रेला उमड़ेगा। मीडिया प्रभारी एड राकेश तिवारी ने बताया कि ठाकुरजी मंदिर चौक में आकर भक्तों को दर्शन देंगे। प्राचीन मंदिर ठाकुर श्रीकेशव देवजी महाराज में भगवान का सुबह पंचामृत अभिषेक किया जाएगा। अभिषेक के पश्चात भक्तों को खीर वितरित की जाएगी।