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यूपी: गाजियाबाद में एक ऐसा गिरोह सक्रिय जो चेहरे के सामने रूमाल हिलाते ही कर देता आपका खाता खाली।
गाज़ियाबाद। शहर में एक माह से एक ऐसा गिरोह सक्रिय है, जो सार्वजनिक स्थान पर लोगों से मिलता है। बातों में उलझाकर चिह्नित व्यक्ति के चेहरे के सामने रूमाल हिला देता है। इससे व्यक्ति बेसुध हो जाता है और इसी समय मोबाइल और पर्स से डेबिट कार्ड लेकर पिन नंबर भी पूछ लेता है। हो सकता है कि आपको इन बातों पर यकीन न हो, लेकिन हाल में हुई तीन वारदात के पीड़ितों ने यही आपबीती सुनाई है।
वहीं पहली वारदात में लिफ्ट देने के बहाने अजीम प्रेमजी फाउंडेशन के रूद्रपुर स्थित स्कूल के प्रधानाचार्य नवनीत सहाय बेदार को 31 अक्टूबर को हापुड़ मोड़ पर लिफ्ट का झांसा दिया। सरकारी टैक्सी होने की बात कह सत्यापन के नाम पर उनका डेबिट कार्ड ले लिया और चेहरे के पास लाकर रूमाल हिला दिया। बातों में उलझाकर पिन नंबर भी पूछ लिया। नवनीत को होश आता, इससे पहले ही लोहियानगर स्थित एचडीएफसी बैंक के एटीएम से चार बार में 40 हजार रुपये निकाल लिए थे।
वहीं दूसरी वारदात में नूर शांतिनगर निवासी ई-रिक्शा चालक उमेश कुमार से सात नवंबर को पुराना बस अड्डा पर दो व्यक्ति मिले। विजयनगर के लिए रिक्शा बुक कर बैठे और उसे सिद्धार्थ विहार में एक खंडहर मकान तक ले गए। बातचीत के दौरान बदमाशों ने उमेश का मास्क उतरवाया और दूसरे ने रूमाल हिला दिया। बेसुध होते ही एक व्यक्ति ने उससे मोबाइल और दूसरे ने पैसे छीन लिए। होश आया तो ई-रिक्शा गायब था और वह रोड किनारे फुटपाथ पर पड़ा था।
वहीं तीसरी वारदात में लखनऊ के गोसाईंगंज में रसूलपुर निवासी मोहम्मद सैफ 14 नवंबर की रात कैब से सिटी साइड में उतरे थे। वैशाली एक्सप्रेस से लखनऊ जाने को उन्हें गाजियाबाद जंक्शन के प्लेटफार्म-2 पर जाना था। कैब से उतरते ही वह डिवाइडर पर बैठ गए। इसी दौरान आए दो युवकों ने चेहरे के सामने रूमाल हिलाकर मोहम्मद सैफ को बेसुध कर दिया था। मोबाइल व एटीएम कार्ड लेकर भागे बदमाशों ने उनके खाते से 33 हजार रुपये भी निकाल लिए थे।
वहीं सैफ ने लखनऊ जीआरपी थाना में रिपोर्ट दर्ज कराई थी, जिसे 19 नवंबर को गाजियाबाद जीआरपी थाना को ट्रांसफर किया गया और अब घटनास्थल स्पष्ट होने पर जीआरपी इसे नगर कोतवाली ट्रांसफर करेगी। एसपी सिटी प्रथम निपुण अग्रवाल का कहना है कि सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाल रहे हैं। छानबीन कर गिरोह का जल्द पर्दाफाश करेंगे।