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यूपी: लखनऊ में कल से तीन दिवसीय राष्ट्रीय कठपुतली महोत्सव, ये कलाकार होंगे शामिल। .

यूपी: लखनऊ में कल से तीन दिवसीय राष्ट्रीय कठपुतली महोत्सव, ये कलाकार होंगे शामिल। .


उत्तर प्रदेश। तीन दिन तक लखनऊ में कठपुतलियां कल और आज की बातें करेंगी। उप्र संगीत नाटक अकादमी में कठपुतलियों का रोचक संसार सजेगा। कठपुतली प्रदर्शन के साथ ही परिचर्चा का भी आयोजन किया गया है। कठपुतली कलाकारों की इस विशेष कला को और करीब से जानने का मौका मिलेगा। संत गाडगे जी महाराज प्रेक्षागृह में आठ नवंबर से तीन दिवसीय राष्ट्रीय कठपुतली महोत्सव शुरू होगा। एक के बाद उम्दा आयोजनों के बाद कठपुतलियों पर केंद्रित यह विशेष आयोजन निश्चित ही दर्शकों को पसंद आएगा।

वहीं कल और आज पर परिचर्चा का आयोजन किया गया है। वहीं, आयोजन के पहले दिन पश्चिम बंगाल के कलाकार सुमित गुप्ता के निर्देशक में टेमिंग आफ द वाइल्ड कठपुतली प्रदर्शन देखने को मिलेगा। दूसरी प्रस्तुति दिल्ली के पूरन भाट की पंचतंत्र की होगी। दूसरे दिन नौ नवंबर को उड़ीसा के खगेश्वर शाहू रामायण पर कठपुतली प्रस्तुति देंगे। द्वितीय प्रस्तुति उत्तर प्रदेश के कलाकार प्रदीप त्रिपाठी के निर्देशन में अलादीन व गुलाबो सिताबो की होगी। वहीं, तीसरे दिन 10 नवंबर को पहली प्रस्तुति राधाकृष्ण होगी। इसमें स्ट्रिंग पपेट माध्यम का प्रयाेग किया जाएगा। मणिपुर के बसंत शर्मा का निर्देशन रहेगा। वहीं, तीन दिवसीय आयोजन की अंतिम प्रस्तुति बंटवारा रहेगी।

बता दें कि इसमें रॉड पपेट माध्यम का प्रयोग किया जाएगा। उत्तर प्रदेश के ही कलाकार शिव कुमार श्रीवास्तव के निर्देशन में प्रस्तुति होगी। तीन दिवसीय आयोजन आफलाइन के साथ-साथ आनलाइन मंच पर भी होगा। दर्शक घर बैठे ही लाइव प्रस्तुति देख सकेंगे। उप्र संगीत नाटक अकादमी के सचिव तरुण राज ने बताया कि उत्तर प्रदेश में कलाओं की विविधता खास है। कठपुतली कला भी उनमें से एक है। लखनऊ में यह कला खास तौर पर समृद्ध हुई है। हमारा प्रयास है कि आयोजन के जरिए इस विशेष कठपुतली कला और कलाकारों को एक ऊंचाई दी जाए। लोगों के बीच कठपुतलियों से जुड़ी स्मृतियों को ताजा किया जाए, जिससे कलाकारों की मदद भी हो सके।