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कोलकाता: सीएम ममता बनर्जी के मां किचन पर बढ़ा विवाद, राज्यपाल ने मांगा योजना का लेखा-जोखा।
कोलकाता। ममता सरकार और राजभवन के बीच टकराव थमने का नाम नहीं ले रहा है। किसी न किसी विषय पर राज्य सरकार और राज्यपाल के बीच विवाद सामने आता रहता है। इस बार अब राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने मां किचन योजना को लेकर राज्य सरकार से लेखा जोखा मांगा है, जिसको लेकर विवाद बढ़ गया है।राज्यपाल ने शनिवार को ट्वीट कर कहा कि उन्होंने लंबे समय से देखा है कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की मां किचन परियोजना के लिए उपलब्ध धन का असंवैधानिक रूप से उपयोग किया जा रहा है।
वहीं इस संबंध में उन्होंने राज्य सरकार से परियोजना की लागत का पूरा लेखा-जोखा उपलब्ध कराने को कहा है। बता दें कि बंगाल में इस साल की शुरुआत में हुए विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने 16 फरवरी को 'मां किचन' योजना की शुरुआत की थी, जिसके तहत राज्य सरकार निर्धनों को पांच रुपये के किफायती मूल्य पर भोजन मुहैया कराती है।
वहीं इस योजना के तहत राज्य सरकार पांच रुपये में लोगों को थाली में चावल, दाल, एक सब्जी और अंडा करी देने का दावा करती है। इधर, राज्यपाल ने अब तक मां किचन परियोजना पर कितना खर्च किया गया है, खर्च का स्रोत क्या है और किस प्राधिकरण ने फंड को मंजूरी दी है, इन सबकी जानकारी मांगी है।
वहीं दूसरी तरफ़ इसके लिए उन्होंने समय भी निर्धारित किया है। वित्त विभाग के मुख्य सचिव को शनिवार से एक सप्ताह के भीतर यह सारी जानकारी देने को कहा गया है। बताते चलें कि राज्यपाल के निशाने पर सिर्फ ममता की मां किचन योजना ही नहीं है बल्कि इससे पहले उन्होंने बंगाल ग्लोबल बिजनेस समिट बीजीबीएस के आयोजनों पर हुए खर्च व इससे आए निवेश पर राज्य सरकार को श्वेत पत्र प्रकाशित करने को कहा था।
बता दें कि वहीं बीजीबीएस को लेकर राज्यपाल लगातार हमलावर रहे हैं और उन्होंने हाल में इस संबंध में कई बार राज्य सरकार से श्वेत पत्र प्रकाशित करने की मांग कर चुके हैं। वर्ष 2016 से हर साल राज्य सरकार द्वारा निवेशकों को आकर्षित करने के लिए बंगाल ग्लोबल बिजनेस समिट आयोजित करने पर प्रति वर्ष कितना पैसा खर्च किया गया है। इससे कितने निवेश आए, कितने लोगों को रोजगार मिला समेत तमाम सवाल पूछे गए थे।
वहीं इसे लेकर भी राज्यपाल ने ट्वीट में राज्य के पूर्व वित्त मंत्री व मुख्यमंत्री के मौजूदा मुख्य आर्थिक सलाहकार अमित मित्रा पर फिर निशाना साधा है। उन्होंने कहा है कि अभी तक बीजीबीएस रिपोर्ट कार्ड जारी नहीं किया गया है। इसका मतलब है कि अमित मित्रा कुछ छिपा रहे हैं।