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यूपी: मऊ में सामूहिक दुष्कर्म के आरोपियों की जमानत अर्जी कोर्ट में हुईं खारिज।
मऊ। सामूहिक दुष्कर्म सहित दो भिन्न थाना क्षेत्र के मामलों की शनिवार को विशेष अदालत व जिला एवं सत्र न्यायाधीश रामेश्वर की अदालत में जमानत अर्जी पर सुनवाई हुई। इसमें मामले की गंभीरता को देखते हुए न्यायाधीश ने दो आरोपितों की जमानत अर्जी को खारिज कर दी।
वहीं पहला मामला अनुसूचित जाति की महिला के साथ योजनाबद्ध तरीके से सामूहिक दुष्कर्म करने व धमकी देने के मामले में आरोपित कोपागंज थाना क्षेत्र के नोकहट निवासी आरोपित खुर्शीद की जमानत अर्जी अनुसूचित जाति, जनजाति की विशेष अदालत अपर सत्र न्यायाधीश अभिनय कुमार ने मामले की सुनवाई के बाद खारिज कर दी।
वहीं अभियोजन कथानक के अनुसार वादिनी मुकदमा का उसके पति से मुकदमा न्यायालय में चल रहा था। इस मामले में सुलह कराने के लिए योजनाबद्ध तरीके से दो-तीन अन्य आरोपित महिलाओं ने उसको नशा की दवा डालकर चाय पिलाई और एक कमरे में सह आरोपित अब्दुल रहमान के साथ बंद कर दिया। सह आरोपित ने उसके साथ जबरदस्ती दुष्कर्म कर वीडियो बना लिया।
वहीं दूसरी तरफ़ पीड़िता को वीडियो वायरल की धमकी देकर सुलह का दबाव बनाया गया तथा गत 10 जुलाई को आरोपित उसे गाजियाबाद ले गए और वहां भी अब्दुल रहमान के साथ आरोपित खुर्शीद व अन्य ने दुष्कर्म किया। आरोपितों ने उसका मोबाइल एटीएम व पैसा छीनकर गाजीपुर लाकर छोड़कर भाग गए। इस मामले में अभियोजन की बहस विशेष एडीजीसी सत्येंद्र राय ने की।
वहीं दूसरा मामला भी दुष्कर्म का थाना सरायलखंसी थाना क्षेत्र का है। पीड़िता के पति विदेश रहते हैं। इसी थाने के पतिला निवासी आरोपित जवाहरलाल उर्फ जवाहिर राम ने उसके साथ दुष्कर्म किया और उसके सास-ससुर व बच्चे को जान से मारने की धमकी दी। इस मामले की सुनवाई जिला एवं सत्र न्यायाधीश रामेश्वर ने करते हुए आरोपित की जमानत अर्जी खारिज कर दी। इस मामले में अभियोजन की तरफ से बहस प्रभारी जिला शासकीय अधिवक्ता मणि बहादुर सिंह ने किया।