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यूपी : सहारा इंडिया के खिलाफ एसएसपी ऑफिस में प्रदर्शन, पॉलिसी मैच्योर होने के बाद भी करोड़ों रुपये डकारने का आरोप

यूपी : सहारा इंडिया के खिलाफ एसएसपी ऑफिस में प्रदर्शन, पॉलिसी मैच्योर होने के बाद भी करोड़ों रुपये डकारने का आरोप

बरेली। सहारा इंडिया के खिलाफ एजेंट और निवेशकों ने बीते कल शुक्रवार को एसएसपी कार्यालय में प्रदर्शन कर उच्च प्रबंधन पर कार्रवाई की मांग की। इन लोगों का आरोप है कि पॉलिसी मैच्योर होने के बाद कंपनी के अधिकारियों ने उनके करोड़ों रुपये लौटाने के बजाय दूसरी पॉलिसी में निवेश करा लिए हैं। उन्होंने रुपये न मिलने पर मतदान न करने की बात कही।

शुक्रवार दोपहर 50 से ज्यादा लोग अपने हाथों में नारे लिखीं तख्तियां लेकर एसएसपी कार्यालय पहुंचे। सहारा इंडिया के खिलाफ नारेबाजी और हंगामा करते हुए लोगों ने कहा कि वे सहारा इंडिया के एजेंट और निवेशक हैं। किसी ने अपनी धनराशि कंपनी में निवेश की तो किसी ने दूसरे की रकम लगवाई। 

वर्ष 2017-18 में उन लोगों की पॉलिसी मैच्योर हो गईं, लेकिन अब तक उनकी रकम नहीं मिली है। कुछ जमाकर्ताओं को कंपनी के उच्च प्रबंधन ने बहला फुसलाकर उनकी रकम का दोबारा निवेश करा लिया। जन सुनवाई कर रहे सीओ नवाबगंज दिलीप कुमार ने निवेशकों को कार्रवाई का आश्वासन दिया।


सहारा के एजेंट्स ने कहा कि उन लोगों ने रुपये निवेश कराए थे, इस वजह से लोग उनसे तकाजा कर रहे हैं। उन लोगों पर भुगतान का दबाव बनाया जा रहा है। उनका घर से निकलना दूभर कर दिया गया है। उनसे गालीगलौज की जाती है, जबकि उन्हें कमीशन तक नहीं मिला है। इस वजह से वे लोग भी भुखमरी की कगार पर हैं। शिकायत करने वालों में अजय सिंह, मनोज कुमार, नरोत्तमदास, सुधा देवी आदि शामिल थीं।



एसएसपी से की गई शिकायत में सहारा ग्रुप के चेयरमैन सुब्रत राय सहारा समेत सहारा इंडिया के सात पदाधिकारियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करने की मांग की है। निवेशकों ने यह भी कहा है कि सरकार ने उनकी रकम वापस नहीं कराई तो वे विधानसभा चुनाव में मतदान नहीं करेंगे। एसएसपी रोहित सिंह सजवाण ने सीओ प्रथम श्वेता यादव को जांच करके कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।



इससे पहले भी सहारा इंडिया के खिलाफ बरेली में रिपोर्ट दर्ज कराई जा चुकी हैं। यह रिपोर्ट पिछले महीने दिव्यांग शबाना ने बारादरी थाने में दर्ज कराई थी आरोप था कि सहारा एच. शाइन कंपनी में उनसे 50 हजार रुपये निवेश कराए गए और जब मियाद पूरी हुई तो कंपनी का दफ्तर ही गायब मिला। इससे पहले निवेशकों ने कोतवाली में भी सहारा इंडिया के खिलाफ शिकायत की थी।