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हिमाचल प्रदेश: राजधानी शिमला में बर्फ के ढेर के कारण बंद हुआ यातायात, वहीं प्रसव पीड़ा से कराह रही महिला के लिए देवदूत बनी पुलिस।

हिमाचल प्रदेश: राजधानी शिमला में बर्फ के ढेर के कारण बंद हुआ यातायात, वहीं प्रसव पीड़ा से कराह रही महिला के लिए देवदूत बनी पुलिस।


हिमाचल प्रदेश। राजधानी शिमला में भारी हिमपात से जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया है। शुक्रवार सुबह के समय एक गर्भवती महिला प्रसव पीड़ा से कराह रही थी। घर के बाहर बर्फ के बड़े-बड़े ढेर लगे हुए थे और सड़क पर यातायात पूरी तरह बंद था।

वहीं प्रसव पीड़ा से तड़प रही महिला को अस्पताल ले जाना जरूरी था। महिला को अस्पताल ले जाने में स्वजन पूरी तरह असमर्थ थे। महिला के स्वजन ने पुलिस से संपर्क साधा। ढली थाना से पुलिस की टीम तुरंत मौके पर पहुंची और महिला को रेस्क्यू वाहन में बिठाकर अस्पताल पहुंचाया। 

वहीं महिला पूनम पत्नी संजय निवासी गांव एवं डाकघर ढली, शिमला के रहने वाली है। ढली थाना पुलिस ने अपनी गाड़ी में बिठाकर कमला नेहरू अस्पताल तक ले गई। यहां पर महिला पूरी तरह से स्वस्थ है। महिला व उसके स्वजन ने इस मदद के लिए पुलिस का तहे दिल से आभार व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि पुलिस ने मानवता का परिचय देकर उसकी जान बचाई है।

बता दें कि शिमला पुलिस ने इस बार हिमपात के दौरान किसी भी तरह की आपदा से निपटने के लिए विशेष वाहन तैयार किए हैं। इन वाहनों में फस्र्ट एड बाक्स के अलावा अन्य तरह की सुविधाएं भी है। यह वाहन फोर बाई फोर है और इनके टायरों में चेन लगी हुई है। ये वाहन बर्फ के बीच आसानी से किसी भी मरीज को अस्पताल तक पहुंचाने में सक्षम हैं।

वहीं उपायुक्त आदित्य नेगी ने हिमपात के बीच शहर में छोटा शिमला, खलीणी, पंथाघाटी, मैहली-शोघी बाईपास व टूटू की सड़कों का जायजा लिया। इस दौरान उन्होंने राहत कार्यों के लिए आवश्यक दिशानिर्देश दिए। उन्होंने लोक निर्माण विभाग के कर्मचारियों का मनोबल बढ़ाया। लोगों से अपील की कि वे गाड़ी चलाते समय एहतियात बरतें और जिला प्रशासन का सहयोग करें। उपायुक्त ने बताया कि जिले में सड़कों को खोलने का कार्य जारी है। प्रशासन के पास मशीनरी व लेबर पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है। इस दौरान एसडीएम शहरी मनजीत शर्मा भी मौजूद रहे।