एजेंसी डेस्क : नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 126वीं जयंती पर पूरा देश उन्हें नमन कर रहा है।
उनका नारा तुम मुझे खून दो , मैं तुम्हें आजादी दूंगा. आज भी देशवासियों के भीतर राष्ट्रभक्ति की भावना पैदा करता है.नेताजी ने भारत की आजादी के लिए न सिर्फ देश के अंदर बल्कि दूसरों मुल्कों में जाकर भी संघर्ष किया। 2021 से उनकी जयंती 23 जनवरी को पराक्रम दिवस के तौर पर मनाया जाता है। इस मौके पर यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी उनकी जयंती पर नमन किया है. CM योगी ने किया नमन,,,,,
सीएम योगी ने ट्वीट करते हुए लिखा-माँ भारती के अमर सपूत, 'नेताजी' सुभाष चंद्र बोस की जयंती पर उन्हें विनम्र श्रद्धांजलि। आपकी राष्ट्र आराधना हम सभी के लिए पावन पाथेय है। सभी प्रदेश वासियों को 'पराक्रम दिवस' की हार्दिक शुभकामनाएं।
सीएम योगी करेंगे माल्यार्पण
मुख्यमंत्री योगी आज सुभाष चंद्र बोस जयंती पर उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण करेंगे। इसके साथ ही लखनऊ मंडल के जनपद उन्नाव, लखनऊ, हरदोई के माo जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक करेंगे।
23 जनवरी को नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती मनाया जाएगा।सीएम. नेता जी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा पर माल्यार्पण करेंगे।
सीएम योगी साथ ही लखनऊ मंडल के जनपद उन्नाव, लखनऊ, हरदोई के माo जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक करेंगे।
सीएम के आज कार्यक्रम,,,,,,,
सीएम योगी ने पूर्वाह्न 09:30 बजे सुभाष चंद्र बोस जयंती के उपलक्ष्य में सुभाष प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। स्थान: परिवर्तन चौक, हजरतगंज, लखनऊ।
सीएम योगी ने पूर्वाह्न 10:30 बजे डॉo फिलिप एकरमैन, जर्मनी के राजदूत श्री कसपाम मेयर से मुलाकात किया। स्थान: 5 कालिदास मार्ग।
सीएम योगी,पूर्वाह्न 11:30 बजे लखनऊ मंडल के जनपद उन्नाव, लखनऊ, हरदोई के माo जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक करेंगे. स्थान: 5 कालिदास मार्ग।
सीएम योगी, अपराह्न 04:00 बजे श्री आनंद महिंद्रा, चेयरमैन, महिंद्रा ग्रुप से मुलाकात करेंगे. स्थान: 5 कालिदास मार्ग।
सीएम योगी, सायं 06:45 बजे पर्वतीय महापरिषद द्वारा आयोजित उत्तरायणी कौथिक लखनऊ 2023 मेले का समापन समारोह में शामिल होंगे।
स्थान: पंडित गोविंद बल्लभ पंत पर्वतीय सांस्कृतिक उपवन,बीरबलसाहनी मार्ग, लखनऊ।
'तुम मुझे खून दो मैं तुम्हें आजादी दूंगा',,,,,,,
नेताजी सुभाष चन्द्र बोस ने अपने कॉलेज के शुरुआती दिनों में ही बंगाल में क्रांति की वो मशाल जलाई, जिसने भारत की आज़ादी की लड़ाई को एक नई धार दी. राष्ट्रीय आंदोलन में नेताजी का योगदान कलम चलाने से लेकर आज़ाद हिंद फौज का नेतृत्व कर अंग्रेज़ों से लोहा लेने तक रहा है।