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सूर्यग्रहण 2023 :: आपके शहर में कब लगेगा सूतक काल, कितने बजे बंद होंगे मंदिर के कपाट, जानें ग्रहण से जुड़ी जरूरी बातें,,,।

सूर्यग्रहण 2023 :: आपके शहर में कब लगेगा सूतक काल, कितने बजे बंद होंगे मंदिर के कपाट, जानें ग्रहण से जुड़ी जरूरी बातें,,,।

Surya Grahan 2023: इस साल 14 अक्टूबर अमावस्या को साल का आखिरी सूर्यग्रहण लगेगा। भारतीय समय के अनुसार शनिवार की शाम 8:34 मिनट पर सूर्य ग्रहण शुरू होगा और 15 अक्टूबर तड़के 2 बजकर 26 मिनट पर समाप्त हो जाएगा। सूर्यग्रहण लगने से 12 या 9 घंटे पहले सूतक काल लगता है। इस दौरान मंदिरों के कपाट बंद कर दिए जाते हैं। 

ऐसे में हम आपको अलग-अलग शहरों में लगने वाले सूतक काल और मंदिर के कपाट बंद होने का समय बताएंगे और यहां हम आपको विस्तार से उज्जैन के सूतक काल और मंदिरों के कपाट बंद होने और खुलने का समय क्या होगा।

जानें किस शहर में कितने बजे लगेगा सूर्यग्रहण

उज्जैन 14 अक्टूबर 2023 की रात 8:34 से देर रात से 15 अक्टूबर तड़के 2:25 तक।

वाराणसी 14 अक्टूबर 2023 की रात 8:34 से देर रात से 15 अक्टूबर तड़के 2:25 तक।

कानपुर 14 अक्टूबर 2023 की रात 8:34 से देर रात 15 अक्टूबर तड़के 2:25 तक।

दिल्ली 14 अक्टूबर 2023 की रात 8:34 से देर रात से 15 अक्टूबर तड़के 2:25 तक।

मुंबई 14 अक्टूबर 2023 की रात 8:34 से देर रात 15 अक्टूबर तड़के 2:25 तक रहेगा।

पाठक ध्यान दें चूंकि, ये सूर्य ग्रहण भारत में दृश्य नहीं है तो इसका सूतक काल भी मान्य नहीं होगा। वैसे सूर्यग्रहण लगने से ठीक 12 घंटे पहले सूतक काल का प्रारंभ हो जाता है। और सूतक काल लगते ही मंदिरों के कपाट बंद हो जाते हैं।

जानें सूर्यग्रहण के बारे में

हिंदू धर्म में ग्रहण और उसके सूतक काल का बड़ा महत्व होता है। इसलिए इस दौरान कोई भी शुभ कार्य नहीं किया जाता। खगोलीय और धार्मिक दृष्टि से सूर्य ग्रहण-चंद्र ग्रहण महत्वपूर्ण घटना के तौर पर मानी जाती है। खगोल शास्त्रियों के अनुसार जब चंद्रमा, पृथ्वी और सूर्य के बीच से गुजरता है, तो सूरज की रोशनी धरती तक नहीं पहुंच पाती है। इसे ही सूर्य ग्रहण का नाम दिया गया है। 

इस बार का सूर्यग्रहण कन्या राशि और चित्रा नक्षत्र में होगा। ये सूर्यग्रहण पश्चिमी अफ्रीका, अटलांटिका, अंटार्कटिका, उत्तरी अमेरिका, दक्षिण अमेरिका में दिखाई देगा। हालांकि, यह सूर्यग्रहण भारत में नजर नहीं आएगा। आपको बता दें कि साल 2023 का पहला सूर्यग्रहण भी भारत में दिखाई नहीं दिया था। ये एक अद्भुत घटना है।