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मंत्री के बिगड़े बोल, कहा,अगर यही करना है तो हमारी तरह नेता बन जाओ विधायक, सांसद या मंत्री बन जाओ, घर पहुंचे फरियादियों से कहा...

मंत्री के बिगड़े बोल, कहा,अगर यही करना है तो हमारी तरह नेता बन जाओ विधायक, सांसद या मंत्री बन जाओ, घर पहुंचे फरियादियों से कहा...

लखनऊ, ब्यूरो। उत्तर प्रदेश में परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह मंत्री जी प्रदर्शनकारियों से नाराज़ हो गए। नाराज़ होकर प्रदर्शनकारियों पर भड़क भी गए, कह दिया, नेतागिरी मत करो। और अगर यही करना है, तो हमारी तरह नेता बन जाओ। नौकरी छोड़ दो और विधायक, सांसद या मंत्री बन जाओ। दरअसल, परिवहन विभाग में मृतक आश्रित कोटे से नौकरी की मांग को लेकर कई दिनों से धरना चल रहा है। इस सिलसिले में प्रदर्शनकारी मंत्री के आवास पर पहुंचे थे, वो लोग मंत्री से मिलने की जिद करने लगे। इसके बाद मंत्री दयाशंकर सिंह भड़क कर बाहर निकले, और  फिर उन्होंने ये बातें कहीं।

मंत्री ने आगे कहा,

"आप लोगों को क्या लगता है कि इस तरह धरना देंगे, तो नौकरी मिल जाएगी। ऐसे में तो आप नौकरी करने के बाद भी नेतागिरी ही करने लगेंगे। नौकरी पाने से पहले अगर आप लोग नेतागिरी करोगे, तो हम जान जाएंगे कि नौकरी के बाद आप काम क्या करोगे। आप लोग अनुशासन में रहेंगे, तभी हम आपके लिए कुछ कर सकेंगे। 
मीडिया की रिपोर्ट के मुताबिक़, मंत्री दयाशंकर सिंह का कहना है कि सरकार बहुत पहले ही फ़ैसला ले चुकी है। जल्दी ही फ़ाइनल लिस्ट जारी की जाएगी। अगर आप लोगों को लगता है कि धरना देने से नौकरी मिल जाएगी, तो ये ग़लत है। अगर बात करनी थी, तो 4-5 लोग आते, मिलकर बात कर लेते। हमारी मंशा है कि सबको नौकरी मिले। लेकिन आप लोगों ने धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया। 

मंत्री दयाशंकर ने आगे कहा कि विभाग फायदे में है। इसकी बैलेंस सीट जुलाई में जाती है, इसके बाद ही कैबिनेट द्वारा फैसला लिया जाएगा। कैबिनेट से आने के बाद ही तय किया जाएगा। अभी हमारे हाथ में कुछ भी नहीं है। कैबिनेट के फ़ैसले में हम अकेले नहीं रहते हैं, लेकिन हम कोशिश कर रहे हैं।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, मृतक आश्रित कोटे से नौकरी को लेकर लंबे समय से प्रदर्शनकारी धरना देते रहे हैं। चुनाव आचार संहिता लगने से पहले भी प्रदर्शन किया जा रहा था, कई ऐसे आश्रित हैं, जो 7 साल से भर्ती के इंतजार में हैं। ऐसे लगभग 1000 अभ्यर्थी हैं, जो मृतक आश्रित कोटे की भर्ती की राह देख रहे हैं। 6 साल में 988 लोगों की मौत हुई है, लेकिन उनके परिवार वाले नौकरी के लिए भटक रहे हैं, नौकरी की मांग कर रहे लोगों का कहना है कि सात साल में अलग-अलग मंत्री बदले, लेकिन भर्ती शुरू ही नहीं हुई।

- BJP के बैड बॉय दयाशंकर सिंह के बदनाम किस्से

बता दें दयाशंकर सिंह पहले भी विवादों में रहे हैं, 2016 में उन्होंने मायावती के लिए आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल किया था। इसके बाद BJP से बाहर निकाल दिए गए थे, 10 दिन लापता रहने के बाद उन्हें बिहार के बक्सर से गिरफ़्तार किया गया था। बाद में उन्हें जमानत पर रिहा कर दिया गया। इसके बाद पार्टी ने उन्हें वापस लिया था। उनकी पत्नी स्वाति सिंह लखनऊ की सरोजनी नगर सीट से जीतकर विधानसभा पहुंची। उन्हें योगी सरकार में मंत्री भी बनाया गया। साथ ही, वो महिला मोर्चा की अध्यक्ष भी रहीं।