मऊ::आज अपने भवन को स्वयं ढहाने लगे लोग, अली बिल्डिंग पर चला हथोड़ा,मच गया हड़कंप...
वाराणसी, ब्यूरो। मऊ नगर के बड़े व्यवासायिक भवन में शुमार अली बिल्डिंग बीते एक सप्ताह से जिले में चर्चा का विषय बना हुआ है। गुरुवार को अली बिल्डिंग के तीसरे तल पर मजदूरों द्वारा जर्जर भवन के हिस्सा को तोड़ते हुए जिस किसी ने देखा तो उन्हें लगा कि यह प्रशासन की कार्रवाई है, लेकिन बाद में पता चला कि यह कार्य खुद भवन स्वामी द्वारा कराया जा रहा है।
दरअसल, जर्जर भवन के रूप में चिह्नित होने के बाद नगर पालिका प्रशासन द्वारा एक सप्ताह पूर्व नोटिस जारी किया गया था, जहां एक-दो दिन में पुन: दूसरी नोटिस जारी होनी थी, लेकिन इससे पहले ही भवन मालिक ने तीसरे तल पर बने जर्जर दुकान को तोड़वाने का कार्य शुरू कर दिया गया।
बतातें चले बारिश में जर्जर भवनों के ढहने से कोई हादसा न हो उसके लिए नगर पालिका द्वारा इस साल 100 जर्जर भवन स्वामियों को नोटिस एक सप्ताह पूर्व जारी किया गया।
इसमें 500 के करीब दुकानों वाले बड़े व्यवसायिक प्रतिष्ठान जो कि जर्जर हालात हैं, उसे भी नोटिस जारी किया गया था। गुरुवार को नोटिस का असर यह रहा कि तीसरे तल के कई दुकानों को मजदूरों द्वारा तोड़ते देखा गया।
उधर, इस संबंध में नगर पालिका ईओ दिनेश कुमार ने बताया कि जर्जर भवन के रूप में चिहिन्त अली बिल्डिंग को नोटिस जारी किया गया था, जल्द ही दूसरा नोटिस जारी होने वाला था। वहीं संबंधित भवन के तीसरे तल के हिस्सों को तोड़े जाने पर उन्होंने अनभिज्ञता जताया।
सिटी मजिस्ट्रेट बृजेंद्र कुमार ने बताया कि संबंधित भवन को नोटिस दिए जाने का मामला संज्ञान में है, लेकिन तोड़े जाने का नहीं। जर्जर भवन को गिराने का प्रावधन का एक लंबा समय है, इसमें नगर पालिका द्वारा दो बार नोटिस देने का प्रावधन है।
इसके बाद प्रशासन को अवगत कराया जाता है, जिसके बाद प्रशासन इस संबंध में लोक निर्माण को इसकी जांच कर रिपोर्ट बनाने को कहा जाता है। बिना लोक निर्माण विभाग के रिपोर्ट के किसी भी जर्जर भवन को प्रशासन द्वारा ढहाया या तोड़ा नहीं जा सकता है।