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पाकिस्तान को बड़ा झटका, एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट में बना रहेगा इमरान का ‘नया पाकिस्तान’

पाकिस्तान को बड़ा झटका, एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट में बना रहेगा इमरान का ‘नया पाकिस्तान’

Pakistan FATF News: फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) की बैठक के बाद ये फैसला लिया गया है कि पाकिस्तान ग्रे लिस्ट में बना रहेगा. पाकिस्तान बेशक एक्शन प्लान पर काम कर रहा है, लेकिन फिर भी वह लिस्ट से बाहर नहीं हो सकता हैं . पाकिस्तान को लेकर कहा गया है कि उसे एफएटीएफ की 17 अक्टूबर से 22 अक्टूबर के बीच होने वाली अगली बैठक से पहले एक्शन प्लान में बताए सभी पॉइंट्स को पूरा करने के लिए काम करना पड़ेगा.

एफएटीएफ- मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकी फंडिंग पर निगरानी रखने वाली एक वैश्विक संस्था है. पाकिस्तान बीते तीन साल से इसकी ग्रे लिस्ट में बना हुआ है. इसका मतलब ये है कि पाकिस्तान में पैसे का इस्तेमाल आतंकियों की फंडिंग के लिए किया जाता है. किसी देश के ग्रे लिस्ट में शामिल होने से उसके विदेशी निवेश के प्रवाह पर प्रभाव पड़ता है, जिससे उस देश की अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचना लाजमी है. पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट में जून, 2018 में डाला गया था.


पाकिस्तान सरकार के अनुमान के अनुसार, एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट में शामिल होने से देश को हर साल करीब 10 बिलियन डॉलर का नुकसान हो रहा है. संयुक्त राष्ट्र ने अंतरराष्ट्रीय आतंकियों की सूची में जिन लोगों को शामिल किया है, उनमें सबसे ज्यादा लोग इसी देश में रहते हैं . यूएन की टेरर लिस्ट में शामिल होने से आतंकी की संपत्ति जब्त की जाती है, यात्रा और हथियार पर प्रतिबंध लगता है. पाकिस्तान ने एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट से निकलने के लिए बीते महीनों काउंटर टेरर फाइनेंसिंग (सीटीएफ) और एंटी मनी लॉन्ड्रिंग (एएमएल) जैसे कानूनों को मंजूरी दी थी.


पाकिस्तान के लिए एक 27 पॉइंट का एक्शन प्लान तैयार किया गया था. जिसे वह पूरी तरह से लागू करने में विफल रहा है. इस महीने के शुरुआत में एजेंसी ने पाकिस्तान के काम को लेकर अपनी दूसरी रिपोर्ट पेश की थी. जिसमें कहा गया कि पाकिस्तान सभी मानदंडों पर खरा नहीं उतरा है. पाकिस्तान ने कुल मिलाकर 7 सिफरिशों का पूरी तरह पालन किया है. जबकि 24 पर वह काफी हद तक काम कर रहा है. वह कुल 40 में से सात सिफारिशों का आंशिक रूप से पालन कर रहा है. जबकि दो का अनुपालन नहीं किया गया. पाकिस्तानी मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, कुल मिलाकर 40 में से 31 सिफारिशों का अनुपालन किया जा रहा है.